डॉक्टर की मौत के बाद उदयपुर में रेजिडेंट डॉक्टर हड़ताल पर, जोधपुर और कोटा में भी विरोध

रेजिडेंट डॉक्टरों ने स्पष्ट किया है कि जब तक प्रिंसिपल और हॉस्टल वार्डन के खिलाफ सख्त कार्रवाई और इस्तीफा नहीं लिया जाता, तब तक वे काम पर नहीं लौटेंगे। रेजिडेंट यूनियन ने गुरुवार शाम हड़ताल की घोषणा कर दी थी।
उदयपुर के इस मामले के साथ ही जोधपुर में भी विरोध तेज हो गया है। यहां 13 जून को डॉ. राकेश विश्नोई के सुसाइड के मामले में कार्रवाई नहीं होने के विरोध में 550 रेजिडेंट डॉक्टर शुक्रवार को इमरजेंसी छोड़कर सभी सेवाओं का बहिष्कार कर चुके हैं। इनके समर्थन में कोटा मेडिकल कॉलेज के रेजिडेंट डॉक्टरों ने काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया।
क्या है उदयपुर की घटना:
बुधवार रात 2 बजे आरएनटी मेडिकल कॉलेज हॉस्टल में यह हादसा हुआ। नागौर के मकराना निवासी डॉ. रवि शर्मा हॉस्टल के कॉरिडोर में वाटर कूलर से पानी भर रहे थे, तभी करंट की चपेट में आ गए। आवाज सुनकर अन्य रेजिडेंट पहुंचे और उन्हें सीपीआर दिया, लेकिन एमबी हॉस्पिटल ले जाने पर डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।
रेजिडेंट्स का कहना है कि वाटर कूलर में करंट आने की शिकायत पहले भी लिखित में दी गई थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसी बात को लेकर डॉक्टरों ने गुरुवार को प्रिंसिपल के दफ्तर पर ताला जड़ दिया और प्रदर्शन किया।
शुक्रवार को भी एमबी हॉस्पिटल सहित अन्य अस्पतालों में रेजिडेंट्स ड्यूटी पर नहीं लौटे। इससे ओपीडी सेवाओं पर असर पड़ा। कुछ ऑपरेशन टाले गए। हॉस्पिटल प्रशासन ने 150 फैकल्टी सदस्यों को ड्यूटी पर लगाया है ताकि मरीजों को ज्यादा परेशानी न हो।
प्रिंसिपल ऑफिस के बाहर धरना दे रहे डॉक्टरों ने पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सच्चाई छिपाने का आरोप भी लगाया है। उनकी मांग है कि प्रिंसिपल और वार्डन के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो।
जोधपुर में भी विरोध
इधर, जोधपुर के एसएन मेडिकल कॉलेज में डॉ. राकेश विश्नोई के सुसाइड मामले में कार्रवाई नहीं होने से नाराज रेजिडेंट डॉक्टरों ने शुक्रवार को इमरजेंसी छोड़कर अन्य सभी सेवाओं का बहिष्कार कर दिया। मथुरादास माथुर अस्पताल के डिप्टी सुपरिटेंडेंट डॉ. गणपत चौधरी ने बताया कि सीनियर डॉक्टरों और एसोसिएट प्रोफेसरों की ड्यूटी लगाकर व्यवस्थाएं संभाली जा रही हैं। मरीजों को ज्यादा परेशानी नहीं हो रही।
थानाधिकारी जुल्फिकार अली ने बताया कि अस्पताल परिसर में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है ताकि किसी तरह की अव्यवस्था न हो।
कोटा में भी समर्थन
कोटा मेडिकल कॉलेज के रेजिडेंट डॉक्टरों ने काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया और उदयपुर व जोधपुर के डॉक्टरों के आंदोलन का समर्थन किया।
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