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राखी कारोबारी घनश्याम सैनी हत्याकांड का खुलासा - तीन आरोपी गिरफ्तार

अलवर । थाना कोतवाली क्षेत्र के प्रताप बास निवासी राखी व्यवसायी घनश्याम सैनी हत्याकांड का पुलिस ने खुलासा कर दिया है। हत्याकांड में शामिल तीन आरोपियों बलजीत सिंह उर्फ बल्ली पुत्र वेद राम गुर्जर (25) निवासी टिहली थाना तिजारा, अशोक उर्फ झुन्नू मीणा पुत्र गिरधारी (28) निवासी थाना मुण्डावर एवं विशाल सिंह पुत्र महेंद्र सिंह राजपूत (19) निवासी लादिया मोहल्ला थाना कोतवाली अलवर को गिरफ्तार किया गया है। विरोधी गैंग को मृतक द्वारा आर्थिक मदद करने एवं 40 लाख की रंगदारी के लिए इस घटना को अंजाम दिया गया।
29 जुलाई को रोजाना की तरह घर से निकले, शाम को मिली लाश
अलवर एसपी तेजस्वनी गौतम ने बताया कि रोजाना की तरह 29 जुलाई की सुबह घर से दुकान स्कूटी लेकर निकले प्रताप बास निवासी 63 वर्षीय व्यवसायी घनश्याम सैनी की लाश तिजारा के नौरंगाबाद क्षेत्र में मिली। उनके दोनों पैरों में गोलियां लगी हुई। तलाश कर रहे परिजन उन्हें अस्पताल लेकर गए, जहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। रात को मृतक के बेटे अनिल कुमार ने अज्ञात के विरुद्ध अपहरण कर हत्या करने की रिपोर्ट दर्ज कराई गई। जिस पर मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की गई।
घटना के खुलासे के लिए एसआईटी का गठन
घटना की गंभीरता को देखते हुए एसपी गौतम ने घटना के खुलासे एवं अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सरिता सिंह के नेतृत्व में सीओ उत्तर आदित्य पूनिया, थानाधिकारी सदर राजेश शर्मा, थानाधिकारी अरावली विहार जहीर अब्बास एवं कार्यवाहक थानाधिकारी कोतवाली रामकिशन को सम्मिलित कर एक एसआईटी का गठन किया। गठित टीम द्वारा शहर के विभिन्न स्थानों के सीसीटीवी फुटेज खंगाले एवं तकनीकी आधार एवं सूचना के माध्यम से वारदात में सम्मिलित बदमाशों की तलाश की।
सीसीटीवी फुटेज से पहचान कर तीन आरोपियों को किया गिरफ्तार
सीसीटीवी फुटेज में घर से स्कूटी पर निकले मृतक घनश्याम सैनी का पीछा एक बाइक और एक स्कॉर्पियो द्वारा करना तथा बाद में उस स्कॉर्पियो से मृतक घनश्याम सैनी को अगवा कर ले जाना पाया गया। अनुसंधान को आगे बढ़ाते हुए टीम ने सर्वप्रथम आरोपी बलजीत उर्फ बल्ली को गांव लूलवाड़ी पलवल हरियाणा से दस्तयाब किया। उसके बाद अशोक उर्फ झुन्नू को गांव वीरनवास के पास से तथा अभियुक्त विशाल राजपूत को दस्तयाब कर पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया गया। अभियुक्त बलजीत की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त स्कॉर्पियो गाड़ी तथा एक पिस्टल व दो जिंदा कारतूस बरामद किए गए।
विरोधी गैंग की आर्थिक मदद एवं रंगदारी के लिए किया था अगवा
गिरफ्तार अभियुक्तों से पूछताछ में सामने आया कि बलजीत उर्फ बल्ली पपला गैंग का सदस्य है। इस नाते विरोधी चीकू गैंग से उनकी रंजिश चल रही है। मृतक घनश्याम ने चीकू गैंग की आर्थिक रूप से मदद की थी, जिसे लेकर उनकी मृतक से रंजिश थी।घनश्याम सैनी अन्य कारोबार के साथ सट्टे का काम भी करता था। जिसे डरा धमका कर बड़ी रकम वसूल करने की योजना लादिया मोहल्ला थाना कोतवाली निवासी अप्पू उर्फ राजा सोलंकी ने बनाई। इसके लिए उसने बलजीत उर्फ बल्ली से संपर्क किया।
घटना की सुबह बलजीत अपने साथी अशोक के साथ स्कॉर्पियो से बर्फ खाना रोड अलवर पहुंचा। जहां उसे अप्पू उर्फ राजा और उसके साथी अमित सोनी एवं मोंटी सैनी मिले। घटना से 1 दिन पहले रैकी कर ली गई थी। घटना के रोज जब मृतक घनश्याम नाई की दुकान पर बैठा था, उस समय विशाल सिंह को भेजकर रैकी करवाई गई। नाई की दुकान से निकलने के बाद मृतक घनश्याम को मोंटी सैनी ने रुकवाया ओर स्कार्पियो में बैठे बलजीत, अमित ओर अशोक के पास भेजा। तीनों ने घनश्याम सैनी को गाड़ी में बैठाया।
मोंटी सैनी घनश्याम की स्कूटी एवं अप्पू उर्फ राजा एक मोटरसाइकिल पर रवाना हुए। बाद में दोनों ने अपनी गाड़ी किसी स्थान पर खड़ी कर स्कॉर्पियो में सवार हो गए। उसके बाद पांचो घनश्याम सैनी को लेकर गांव जरौली के जंगल में पहुंचे। जहां घनश्याम सैनी को छोड़ने की एवज में 10 करोड़ की मांग की और राशि कम करते-करते 40 लाख तक लेने के लिए डराया धमकाया और डंडों से मारपीट की। घनश्याम के मना करने पर पीट-पीटकर हत्या कर दी और लाश नौरंगाबाद मोड थाना तिजारा के पास पटक दी। वारदात को एक्सीडेंट का रूप देने के लिये बलजीत ने मृतक के मोबाइल से 108 नंबर पर कॉल कर किसी अज्ञात व्यक्ति के पड़े होने की सूचना भी दी।
प्रकरण में शेष बचे अभियुक्त अप्पू उर्फ राजा सोलंकी, अमित सोनी व मोंटी सैनी की सरगर्मी से तलाश हेतु पुलिस की विभिन्न टीमें लगातार प्रयास कर रही है।
29 जुलाई को रोजाना की तरह घर से निकले, शाम को मिली लाश
अलवर एसपी तेजस्वनी गौतम ने बताया कि रोजाना की तरह 29 जुलाई की सुबह घर से दुकान स्कूटी लेकर निकले प्रताप बास निवासी 63 वर्षीय व्यवसायी घनश्याम सैनी की लाश तिजारा के नौरंगाबाद क्षेत्र में मिली। उनके दोनों पैरों में गोलियां लगी हुई। तलाश कर रहे परिजन उन्हें अस्पताल लेकर गए, जहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। रात को मृतक के बेटे अनिल कुमार ने अज्ञात के विरुद्ध अपहरण कर हत्या करने की रिपोर्ट दर्ज कराई गई। जिस पर मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की गई।
घटना के खुलासे के लिए एसआईटी का गठन
घटना की गंभीरता को देखते हुए एसपी गौतम ने घटना के खुलासे एवं अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सरिता सिंह के नेतृत्व में सीओ उत्तर आदित्य पूनिया, थानाधिकारी सदर राजेश शर्मा, थानाधिकारी अरावली विहार जहीर अब्बास एवं कार्यवाहक थानाधिकारी कोतवाली रामकिशन को सम्मिलित कर एक एसआईटी का गठन किया। गठित टीम द्वारा शहर के विभिन्न स्थानों के सीसीटीवी फुटेज खंगाले एवं तकनीकी आधार एवं सूचना के माध्यम से वारदात में सम्मिलित बदमाशों की तलाश की।
सीसीटीवी फुटेज से पहचान कर तीन आरोपियों को किया गिरफ्तार
सीसीटीवी फुटेज में घर से स्कूटी पर निकले मृतक घनश्याम सैनी का पीछा एक बाइक और एक स्कॉर्पियो द्वारा करना तथा बाद में उस स्कॉर्पियो से मृतक घनश्याम सैनी को अगवा कर ले जाना पाया गया। अनुसंधान को आगे बढ़ाते हुए टीम ने सर्वप्रथम आरोपी बलजीत उर्फ बल्ली को गांव लूलवाड़ी पलवल हरियाणा से दस्तयाब किया। उसके बाद अशोक उर्फ झुन्नू को गांव वीरनवास के पास से तथा अभियुक्त विशाल राजपूत को दस्तयाब कर पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया गया। अभियुक्त बलजीत की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त स्कॉर्पियो गाड़ी तथा एक पिस्टल व दो जिंदा कारतूस बरामद किए गए।
विरोधी गैंग की आर्थिक मदद एवं रंगदारी के लिए किया था अगवा
गिरफ्तार अभियुक्तों से पूछताछ में सामने आया कि बलजीत उर्फ बल्ली पपला गैंग का सदस्य है। इस नाते विरोधी चीकू गैंग से उनकी रंजिश चल रही है। मृतक घनश्याम ने चीकू गैंग की आर्थिक रूप से मदद की थी, जिसे लेकर उनकी मृतक से रंजिश थी।घनश्याम सैनी अन्य कारोबार के साथ सट्टे का काम भी करता था। जिसे डरा धमका कर बड़ी रकम वसूल करने की योजना लादिया मोहल्ला थाना कोतवाली निवासी अप्पू उर्फ राजा सोलंकी ने बनाई। इसके लिए उसने बलजीत उर्फ बल्ली से संपर्क किया।
घटना की सुबह बलजीत अपने साथी अशोक के साथ स्कॉर्पियो से बर्फ खाना रोड अलवर पहुंचा। जहां उसे अप्पू उर्फ राजा और उसके साथी अमित सोनी एवं मोंटी सैनी मिले। घटना से 1 दिन पहले रैकी कर ली गई थी। घटना के रोज जब मृतक घनश्याम नाई की दुकान पर बैठा था, उस समय विशाल सिंह को भेजकर रैकी करवाई गई। नाई की दुकान से निकलने के बाद मृतक घनश्याम को मोंटी सैनी ने रुकवाया ओर स्कार्पियो में बैठे बलजीत, अमित ओर अशोक के पास भेजा। तीनों ने घनश्याम सैनी को गाड़ी में बैठाया।
मोंटी सैनी घनश्याम की स्कूटी एवं अप्पू उर्फ राजा एक मोटरसाइकिल पर रवाना हुए। बाद में दोनों ने अपनी गाड़ी किसी स्थान पर खड़ी कर स्कॉर्पियो में सवार हो गए। उसके बाद पांचो घनश्याम सैनी को लेकर गांव जरौली के जंगल में पहुंचे। जहां घनश्याम सैनी को छोड़ने की एवज में 10 करोड़ की मांग की और राशि कम करते-करते 40 लाख तक लेने के लिए डराया धमकाया और डंडों से मारपीट की। घनश्याम के मना करने पर पीट-पीटकर हत्या कर दी और लाश नौरंगाबाद मोड थाना तिजारा के पास पटक दी। वारदात को एक्सीडेंट का रूप देने के लिये बलजीत ने मृतक के मोबाइल से 108 नंबर पर कॉल कर किसी अज्ञात व्यक्ति के पड़े होने की सूचना भी दी।
प्रकरण में शेष बचे अभियुक्त अप्पू उर्फ राजा सोलंकी, अमित सोनी व मोंटी सैनी की सरगर्मी से तलाश हेतु पुलिस की विभिन्न टीमें लगातार प्रयास कर रही है।
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