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आदमखोर के हमले और उस पर जारी अमानवीय रिपोर्ट पर सियासत तेज

khaskhabar.com : शनिवार, 08 जुलाई 2017 5:43 PM (IST)
आदमखोर के हमले और उस पर जारी अमानवीय रिपोर्ट पर सियासत तेज
पीलीभीत। जिले में आदमखोर बाघ ने अब तक 15 लोगों की जान ले ली। अब इस पर सियासत तेज हो गई है। बाघ हमले में लगातार हो रही मौतों पर एक वन जीव जंतुविद की विवादित संवेदनहीन टिप्पणी ने आग में घी का काम कर दिया। इस सारे मुद्दे पर सपा सरकार के पूर्व मंत्री हेमराज वर्मा ने मोर्चा खोल दिया है।इसके विरुद्ध वे शनिवार से धरने पर बैठे गए। उन्होंने 11 सूत्रीय मांग पत्र भी तैयार किया है।


पूर्व मंत्री का विरोध वाइल्ड लाइफ़ कंट्रोल ब्यूरो के सदस्य की भेजी गई उस रिपोर्ट के खिलाफ भी है, जिसमें कहा गया है कि स्थानीय ग्रामीण मुआवजे के लालच में बुजुर्गों को जंगल में भेज कर बाघ का निवाला बनवा रहे है। इस रिपोर्ट पर ग्रामीणों में जबरदस्त रोष है।उत्तेजित ग्रामीणों ने इसको लेकर हेमराज वर्मा से बात भी की। ग्रामीणों ने वाइल्ड लाइफ कंट्रोल ब्यूरो के सदस्य के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराने जा रहे है। पूर्व मंत्री ने इस मामले में अमानवीय रिपोर्ट प्रकाशित करने वाली मीडिया को भी आड़े हाथों लिया है।



पूर्वमंत्री के इस धरने को विरोधी मौका परस्त राजनीति की संज्ञा दे रहे हैं। भाजपा जिला अध्यक्ष सुरेश गंगवार का कहना है कि टाइगर रिज़र्व की स्थापना सपा सरकार के दौरान ही हुई थी। तब इन्हीं पूर्वमंत्री ने अपनी सरकार की पीठ थपथपाते हुए पीलीभीत वासियों को पर्यटन बढ़ने के साथ रोजगार बढ़ने के सपने दिखाए थे।आठ किसानों की मौतें तो सपा के कार्यकाल में ही हुई थी। पूर्व मंत्री इसके सहारे अपनी खोई हुई राजनीति चमकाने के प्रयास कर रहे है।भाजपा जिलाध्यक्ष ने कहा कि अमानवीय रिपोर्ट की निंदा कर कहा ऐसे लोगों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज होने चाहिए।



भाजपा नेता ने कहा कि वे केंद्र और प्रदेश सरकार को भी ऐसे लोगों के विरुद्ध करवाई के लिए लिखेंगे।

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