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सस्ती दरों पर रेत मुहैया कराने के लिए मुख्यमंत्री ने 5 जिलों की 20 और खदानें समर्पित कीं

मोगा। लोगों को सस्ती दरों पर रेत और बजरी मुहैया कराने के लिए मुख्यमंत्री भगवंत मान ने शुक्रवार को 5 जिलों की 20 और सार्वजनिक खदानें लोगों को समर्पित की। जिससे रेत की पिट हैड समेत 5.50 रुपए प्रति क्यूबिक फुट यकीनी बनाई जा सके।
मुख्यमंत्री ने मोगा के गाँव संघेड़ा में पत्रकारों से कहाकि सार्वजनिक खदानें शुरू करने के तीसरे पड़ाव के अंतर्गत अब लुधियाना, फ़िरोज़पुर, मोगा, होशियारपुर और एसबीएस नगर जिलों की 20 नयी खदानें शुक्रवार को कार्यशील हुई। जिससे राज्य भर में चल रही सार्वजनिक खदानों की संख्या बढ़ कर 55 हो गई है। राज्य सरकार जल्द पंजाबभर में 150 सार्वजनिक खदानों को कार्यशील करेगी। राज्य सरकार ने पिछली सरकारों में बढ़े- फूले रेत माफिये की जड़ काट दी है जिससे लोगों को सस्ती दरों पर रेत मुहैया हो सके।
मुख्यमंत्री ने कहाकि अब इन सार्वजनिक खदानों पर 5.50 रुपए प्रति क्यूबिक फुट रेत की बिक्री की जाएगी। इन खदानों में केवल हाथों से ही रेत की खुदाई करने की अनुमति होगी। मशीनों द्वारा खुदाई कार्य नहीं किया जा सकेगा। अब तक राज्य की 35 सार्वजनिक खदानों के द्वारा 5.82 लाख मीट्रिक टन रेत की खरीद की जा चुकी है। 20 नयी खदानें शुरू होने से 18.29 लाख मीट्रिक टन रेत लोगों को मुहैया होगी। इन खदानों से सस्ती रेत ही नहीं मिलेगी, बल्कि प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष ढंग से नौजवानों के लिए रोज़गार के मौके पैदा होंगे।
उन्होंने कहा कि इन खदानों की शुरुआत से लेकर अब तक 5 करोड़ रुपए इन खदानों में मज़दूरी करने वाले लोगों की तरफ से कमाया जा चुका है। इन खदानों से सिर्फ़ ग़ैर-व्यापारिक प्रोजेक्टों के लिए ही रेत की खरीद की जा सकेगी। रेत की बिक्री सूरज डूबने तक ही होगी। हर सार्वजनिक माइनिंग वाली जगह पर रेत की निकासी रेगूलेट करने के लिए एक सरकारी अधिकारी हमेशा मौजूद रहेगा।
राज्य में रेत माफिया पैदा करने और उनके संरक्षण के लिए पिछली सरकारों की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि इन लोगों को इस मुद्दे पर बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। हर कोई जानता है कि इन नेताओं की अपने लंबे कुशासन के दौरान राज्य की अंधाधुंध लूट करने वाले माफिये के साथ सीधी मिलीभुगत थी।
राज्य की वित्तीय हालत फिर राह पर आने का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि रेत माफिया, जिसको पिछली सरकार के नेताओं की सरपरस्ती प्राप्त थी, के विरुद्ध कार्यवाही शुरू की गई जिससे लोगों को सस्ती दरों पर रेत मिलना यकीनी बनाया जा सके। पहले रेत महंगी भाव पर मिलती थी जबकि नशा बाज़ार में आसानी से मिल जाते थे। पिछली सरकारों ने लोक भलाई को नजरअन्दाज किया। परन्तु उनकी सरकार लोगों को बिना किसी मुश्किल के सेवाएं प्रदान करने और सरकारी खजाने की लूट रोकने के लिए पूरी तनदेही के साथ काम कर रही है।
मुख्यमंत्री ने मोगा के गाँव संघेड़ा में पत्रकारों से कहाकि सार्वजनिक खदानें शुरू करने के तीसरे पड़ाव के अंतर्गत अब लुधियाना, फ़िरोज़पुर, मोगा, होशियारपुर और एसबीएस नगर जिलों की 20 नयी खदानें शुक्रवार को कार्यशील हुई। जिससे राज्य भर में चल रही सार्वजनिक खदानों की संख्या बढ़ कर 55 हो गई है। राज्य सरकार जल्द पंजाबभर में 150 सार्वजनिक खदानों को कार्यशील करेगी। राज्य सरकार ने पिछली सरकारों में बढ़े- फूले रेत माफिये की जड़ काट दी है जिससे लोगों को सस्ती दरों पर रेत मुहैया हो सके।
मुख्यमंत्री ने कहाकि अब इन सार्वजनिक खदानों पर 5.50 रुपए प्रति क्यूबिक फुट रेत की बिक्री की जाएगी। इन खदानों में केवल हाथों से ही रेत की खुदाई करने की अनुमति होगी। मशीनों द्वारा खुदाई कार्य नहीं किया जा सकेगा। अब तक राज्य की 35 सार्वजनिक खदानों के द्वारा 5.82 लाख मीट्रिक टन रेत की खरीद की जा चुकी है। 20 नयी खदानें शुरू होने से 18.29 लाख मीट्रिक टन रेत लोगों को मुहैया होगी। इन खदानों से सस्ती रेत ही नहीं मिलेगी, बल्कि प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष ढंग से नौजवानों के लिए रोज़गार के मौके पैदा होंगे।
उन्होंने कहा कि इन खदानों की शुरुआत से लेकर अब तक 5 करोड़ रुपए इन खदानों में मज़दूरी करने वाले लोगों की तरफ से कमाया जा चुका है। इन खदानों से सिर्फ़ ग़ैर-व्यापारिक प्रोजेक्टों के लिए ही रेत की खरीद की जा सकेगी। रेत की बिक्री सूरज डूबने तक ही होगी। हर सार्वजनिक माइनिंग वाली जगह पर रेत की निकासी रेगूलेट करने के लिए एक सरकारी अधिकारी हमेशा मौजूद रहेगा।
राज्य में रेत माफिया पैदा करने और उनके संरक्षण के लिए पिछली सरकारों की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि इन लोगों को इस मुद्दे पर बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। हर कोई जानता है कि इन नेताओं की अपने लंबे कुशासन के दौरान राज्य की अंधाधुंध लूट करने वाले माफिये के साथ सीधी मिलीभुगत थी।
राज्य की वित्तीय हालत फिर राह पर आने का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि रेत माफिया, जिसको पिछली सरकार के नेताओं की सरपरस्ती प्राप्त थी, के विरुद्ध कार्यवाही शुरू की गई जिससे लोगों को सस्ती दरों पर रेत मिलना यकीनी बनाया जा सके। पहले रेत महंगी भाव पर मिलती थी जबकि नशा बाज़ार में आसानी से मिल जाते थे। पिछली सरकारों ने लोक भलाई को नजरअन्दाज किया। परन्तु उनकी सरकार लोगों को बिना किसी मुश्किल के सेवाएं प्रदान करने और सरकारी खजाने की लूट रोकने के लिए पूरी तनदेही के साथ काम कर रही है।
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