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सीएम अमरिंदर सिंह अपना बयान वापस लें- चंदूमाजरा
श्रीआनंदपुर साहिब। सांसद प्रेम सिंह चंदूमाजरा ने यहां मीडिया से बात करते हुए केबिनट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के डैमेज कंट्रोल के बयान पर कटाक्ष किया, वहीं कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा कैनेडा के प्रधानमंत्री को पंजाब आने के लिए रखी शर्तों के बारे में कहा कि मुख्यमंत्री को अपना बयान वापस लेना चाहिए।
चंदूमाजरा ने सिद्धू के दिए बयान कि कांग्रेस सरकार के 100 दिनों की सरकार में सिर्फ डैमेज कंट्रोल ही हुआ है, इस पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जैसे सिद्धू क्रिकेट खेलते थे, वैसे ही वह राजनीति में भी वैसे ही कर रहे हैं। अगर सरकार को 100 दिन डैमेज कंट्रोल करने में ही लग गए तो ऐसे में सरकार की कुशलता पर ही सवाल खड़े होते हैं।
उन्होंने कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू से सवाल करते हुए कहा- तो फिर अमरिंदरसिंह को गुटका साहिब की कसम नहीं खानी चाहिए थी कि एक महीने में नशा ख़त्म कर देंगे ,कर्ज माफ़ कर देंगे
चंदूमाजरा ने कहा कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने जो केनेडा के प्रधानमंत्री ट्रूडो को पंजाब आने के लिए जो शर्त रखी है, उससे विदेशों में रह रहे पंजाबियों को खतरे में डाल दिया है। इससे केनेडा में रह रहे सिख भाईचारे के लोगों में डर पैदा हो गया है। यह बिलकुल गलत है। यह फैसला न तो पंजाब और न ही सिखों के और न ही देश के हित में है। पंजाब में कोई भी खालिस्तान का मुदा नहीं है। उस मुद्दे को आप ही पैदा किया जा रहा है। आज पंजाब में रेत महंगी हो चुकी है। शराब साथी राज्यों से स्मगल हो रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री लोगों को भटका कर फालतू मुद्दों में उलझा रहे हैं।
चंदूमाजरा ने सिद्धू के दिए बयान कि कांग्रेस सरकार के 100 दिनों की सरकार में सिर्फ डैमेज कंट्रोल ही हुआ है, इस पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जैसे सिद्धू क्रिकेट खेलते थे, वैसे ही वह राजनीति में भी वैसे ही कर रहे हैं। अगर सरकार को 100 दिन डैमेज कंट्रोल करने में ही लग गए तो ऐसे में सरकार की कुशलता पर ही सवाल खड़े होते हैं।
उन्होंने कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू से सवाल करते हुए कहा- तो फिर अमरिंदरसिंह को गुटका साहिब की कसम नहीं खानी चाहिए थी कि एक महीने में नशा ख़त्म कर देंगे ,कर्ज माफ़ कर देंगे
चंदूमाजरा ने कहा कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने जो केनेडा के प्रधानमंत्री ट्रूडो को पंजाब आने के लिए जो शर्त रखी है, उससे विदेशों में रह रहे पंजाबियों को खतरे में डाल दिया है। इससे केनेडा में रह रहे सिख भाईचारे के लोगों में डर पैदा हो गया है। यह बिलकुल गलत है। यह फैसला न तो पंजाब और न ही सिखों के और न ही देश के हित में है। पंजाब में कोई भी खालिस्तान का मुदा नहीं है। उस मुद्दे को आप ही पैदा किया जा रहा है। आज पंजाब में रेत महंगी हो चुकी है। शराब साथी राज्यों से स्मगल हो रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री लोगों को भटका कर फालतू मुद्दों में उलझा रहे हैं।
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