A gang involved in fraud by digitally arresting applicants by posing as CBI officers and a fake court has been busted.-m.khaskhabar.com
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सीबीआई अधिकारी व फर्जी न्यायालय बनाकर डिजिटल अरेस्ट करके ठगी करने वाले गिरोह को पर्दाफाश

khaskhabar.com: शनिवार, 11 अक्टूबर 2025 6:57 PM (IST)
सीबीआई अधिकारी व फर्जी न्यायालय बनाकर डिजिटल अरेस्ट करके ठगी करने वाले गिरोह को पर्दाफाश
साइबर थाना पुलिस ने दिल्ली व उत्तरप्रदेश से तीन आरोपियों को गिरफतार व एक बाल अपचारी को किया डिटेन चित्तौड़गढ़। सीबीआई अधिकारी व फर्जी न्यायालय बनाकर प्रार्थी को डिजिटल अरेस्ट करके ठगी करने वाले गिरोह को पर्दाफाश कर दिल्ली व उत्तरप्रदेश से पुलिस थाना साइबर चित्तौडगढ नें तीन आरोपियों गिरफ्तार व एक बाल अपचारी को डिटेन किया हैं। 02 अक्टूबर को बडीसादडी निवासी प्रार्थी ने रिपोर्ट दी की दिनांक 28 सितंबर को करीब 11 बजे एक अज्ञात व्यक्ति द्वारा प्रार्थी को ट्राई का अधिकारी बनकर कॉल किया कि वह बीएसएनल विभाग दिल्ली से राम शर्मा पीआरओ बोल रहा हैं। प्रार्थी के नाम से मुम्बई में सीमकार्ड खरीदना बताया व कहा कि उक्त सीम कार्ड पर एफ.आई.आर दर्ज है। जिसके जांच अधिकारी से कॉल कनेक्ट करवा रहा हूं। जिसके बाद प्रार्थी के कॉल को मुम्बई के सीबीआई अधिकारी से कॉल कनेक्ट करवा दिया और प्रार्थी के वाटसअप नम्बर पुछे जिसके बाद प्रार्थी को वाटसअप पर विडियों कॉल किया जिस पर प्रार्थी को पुलिस की वर्दी में सीबीआई का अधिकारी बताकर कहा कि आपके विरूद्ध सीबीआई में प्रकरण दर्ज है। इसमें से एक का उन्होंने एनकाउन्टर कर दिया है। उसके कब्जे से एक एटीएम कार्ड मिला है जिसमें आपका नाम है आपके खातें में दो करोड रूपये जमा हुये है। इस लिये आपका अरेस्ट वारंट है। वे उनको कोर्ट में पेश करेंगे उसके बाद प्रार्थी को विडियों कॉल पर कोर्ट में पेश किया जिस पर कोर्ट का फर्जी आदेश बनाकर प्रार्थी की एफ.डी 27,80,000/- रू की तुडवाकर प्रार्थी से फ्रॉडर के खाते में जमा करवा ली। मामले में धारा 66डी आई.टी एक्ट व 318 (4) बी.एन.एस में प्रकरण दर्ज कर अनुसंधान शुरू किया गया।
प्रकरण की गंभीरता को देखते हुये पुलिस अधीक्षक मनीष त्रिपाठी (आईपीएस) नें साइबर से सम्बधित अपराधों की रोकथाम करने के निर्देश देते हुए इस प्रकरण को गंम्भीरता से लेकर निर्देश दिये। एएसपी सरिता सिंह, मुकेश सांखला, के मार्गदर्शन व डीएसपी गिरिराज गर्ग के सुपरविजन व पुलिस निरीक्षक पोखरमल के नेतृत्व में थाना साइबर से व साइबर सैल से विशेष टीम का गठन कर प्रकरण में अज्ञात बदमाशों की पहचान हेतू गाजियाबाद उत्तरप्रदेश पहुंच खाताधारक की तलाश की गई जहां से दो आरोपियों को डिटेन कर लेकर आये जिनसे विस्तृत पुछताछ कर आरोपी आशिष तिवारी पुत्र उमेश चन्द्र तिवारी निवासी एल 303 सेक्टर 12 प्रताप विहार पुलिस थाना विजयनगर गाजियाबाद उत्तरप्रदेश, 32 वर्षीय दीपक पारासर पुत्र आनन्द पारासर निवासी सी 499 सेकण्ड फलोर योजना विहार आनन्द विहार शकरपुर पुलिस थाना विवेक विहार ईस्ट दिल्ली 110092 को गिरफतार किया गया। इनकी टीम में अन्य सदस्य बताये जिनकी तलाश कर दिल्ली से एक बाल अपचारी को निरूद्ध कर व आरोपी 23 वर्षीय मोहम्मद शाकीब उर्फ शिवा पुत्र अब्दुल खालिक अंसारी निवासी गोण्डे पुलिस थाना चिलबिला सदर जिला प्रतापगढ़ उतरप्रदेश को गिरफतार कर आरोपियों को न्यायालय में पेश कर पुलिस रिमाण्ड पर लिया जाकर अन्य वारदातों के बारे में पता लगाया जायेगा।
तरीका वारदात- फर्जी सीबीआई अधिकारी व फर्जी न्यायालय बताकर लोगो के विरूद्ध सीबीआई में प्रकरण दर्ज बताकर डिजिटल अरेस्ट करने वाले अपराधियों को खाते में राशि का लेन-देन करने हेतू खाते उपलब्ध करवाना व APK फाईल इंस्टाल करा मोबाईल फोन हैक करना।
टीम सदस्यो के नाम:-डीएसपी गिरिराज गर्ग, पुलिस निरीक्षक पोखरमल, साइबर सेल के हैड कानि.राजकुमार, साइबर थाने के हैड कानि. देउ शर्मा, ललिता, कानि. रामनिवास, धर्मपाल, गणपत, महेन्द्र, मुकेश, संदीप, सजंय, अजित गढवाल, निर्मल व स्वाति उक्त कार्यवाही में पुलिस निरीक्षक पोखरमल, कानिस्टेबल रामनिवास, धर्मपाल सिंह, महेन्द्र चौधरी, गणपत, मुकेश व संदीप की विशेष भुमिका रही है।

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