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पंजाब : ‘आप’ पार्टी में फूट! विधायकों ने राज्य इकाई को घोषित किया स्वायत्त

बठिंडा। पंजाब में आम आदमी पार्टी (आप) की राज्य इकाई में मचा घमासान अब खुलकर सामने आने लगा है। विधानसभा में नेता विपक्ष के पद से हटाए जाने के बाद सुखपाल खैरा द्वारा बुलाई गई बैठक में 7 विधायकों ने हिस्सा लिया।
बैठक में पंजाब इकाई को ‘स्वायत्त’ घोषित कर दिया और इसके वर्तमान सांगठनिक ढांचे को ‘भंग’ कर दिया। लेकिन यहां एक सार्वजनिक बैठक के दौरान इस प्रस्ताव को स्वीकार करते हुए खैरा ने दिल्ली में नेतृत्व को एक हफ्ते का समय दिया कि उन्हें पंजाब में विधायक दल के नेता पद से हटाने के निर्णय की समीक्षा करे। पद से हटाए जाने के बाद भोलथ के विधायक की तरफ से बुलाई गई ‘कार्यकर्ताओं की बैठक’ में 20 आप विधायकों में से सात ने हिस्सा लिया। आप नेतृत्व ने पंजाब के सभी विधायकों को दिल्ली तलब कर संकेत दिए कि वे ‘पार्टी विरोधी’ मुहिम के साथ नहीं हैं। उनमें से कम से कम 11 विधायक राजधानी में नेताओं से मिलने आए।
आप की राज्य इकाई के सह-अध्यक्ष बलवीर सिंह ने कहा कि बठिंडा सम्मेलन में हिस्सा लेने वाले विधायक एवं अन्य नेताओं को ‘गुमराह’ किया गया है और उम्मीद जताई कि पार्टी को मजबूत करने के लिए आने वाले दिनों में वे पार्टी लाइन का पालन करेंगे। उन्होंने बयान जारी कर कहा, ‘राज्य और केंद्रीय नेतृत्व से सलाह-मशविरा किए बगैर आम आदमी पार्टी के बैनर तले सम्मेलन का आयोजन करना अवैध है और नेताओं को भविष्य में इस तरह की गतिविधियों से बचना चाहिए।
बैठक में पंजाब इकाई को ‘स्वायत्त’ घोषित कर दिया और इसके वर्तमान सांगठनिक ढांचे को ‘भंग’ कर दिया। लेकिन यहां एक सार्वजनिक बैठक के दौरान इस प्रस्ताव को स्वीकार करते हुए खैरा ने दिल्ली में नेतृत्व को एक हफ्ते का समय दिया कि उन्हें पंजाब में विधायक दल के नेता पद से हटाने के निर्णय की समीक्षा करे। पद से हटाए जाने के बाद भोलथ के विधायक की तरफ से बुलाई गई ‘कार्यकर्ताओं की बैठक’ में 20 आप विधायकों में से सात ने हिस्सा लिया। आप नेतृत्व ने पंजाब के सभी विधायकों को दिल्ली तलब कर संकेत दिए कि वे ‘पार्टी विरोधी’ मुहिम के साथ नहीं हैं। उनमें से कम से कम 11 विधायक राजधानी में नेताओं से मिलने आए।
आप की राज्य इकाई के सह-अध्यक्ष बलवीर सिंह ने कहा कि बठिंडा सम्मेलन में हिस्सा लेने वाले विधायक एवं अन्य नेताओं को ‘गुमराह’ किया गया है और उम्मीद जताई कि पार्टी को मजबूत करने के लिए आने वाले दिनों में वे पार्टी लाइन का पालन करेंगे। उन्होंने बयान जारी कर कहा, ‘राज्य और केंद्रीय नेतृत्व से सलाह-मशविरा किए बगैर आम आदमी पार्टी के बैनर तले सम्मेलन का आयोजन करना अवैध है और नेताओं को भविष्य में इस तरह की गतिविधियों से बचना चाहिए।
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