Advertisement
लेखा एवं अंकेक्षण में बेहतर कार्य करने वाली 27 नगरीय निकाय सम्मानित

जयपुर । प्रदेश की नगरीय निकायों में दोहरी लेखा पद्धति एवं लेखा व अंकेक्षण की व्यवस्था व्यवस्थित रूप से लागू होने से नगरीय निकाय आर्थिक रूप से सुदृढ़ हुई है। लेखा एव अंकेक्षण के क्षेत्र में बेहतर कार्य करने वाले स्वायत्त शासन विभाग की 3 अधिकारियों सहित 27 नगरीय निकाय को सम्मानित किया गया है।
यह जानकारी स्वायत्त शासन विभाग एवं जनाग्रह सेन्टर फाॅर सिटीजनशिप एण्ड डेमोक्रेसी, बैंगलोर के संयुक्त तत्वाधान में राज्य में लेखा एव अंकेक्षण के क्षैत्र में बेहतर कार्य करने वाली नगरीय निकायों को सम्मानित करने के लिए आयोजित सम्मान समारोह में नगरीय विकास आवासन एवं स्वायत्त शासन मंत्री श्रीचन्द कृपलानी ने दी।
नगरीय विकास आवासन एवं स्वायत्त शासन मंत्री श्रीचन्द कृपलानी ने इस मौक़े पर कहा कि प्रदेश की नगरीय निकायों में दोहरी लेखा पद्धति एवं लेखा व अंकेक्षण की व्यवस्था व्यवस्थित रूप से लागू होने से नगरीय निकाय आर्थिक रूप से सुदृढ़ हुई है। उन्होनें बताया कि प्रदेश की 191 से 1950 नगरीय निकायों से लेखा व अंकेक्षण के क्षेत्र में बेहतरीन कार्य किया है। उन्होंने बताया कि कोई भी संस्था दुकान, फैक्ट्री, कम्पनी जब ही बेहतर रूप से चल सकती है। जबकि उसका लेखा व अंकेक्षण का कार्य सुदृढ़ रूप से हो। लेखा व अंकेक्षण का कार्य किसी भी संस्था को मजबूत बनाता है। उन्होनें बताया कि प्रदेश की सरकार ने नगरीय निकायों की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करने के लिए सभी नगरीय निकायों में लेखा व अंकेक्षण व्यवस्था लागू की थी, जिसके सुदृढ़ परिणाम प्राप्त हुए है। उन्होनें कहा कि जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों के बेहतर सामंजस्य से विकास कार्यो में तेजी आती है।
कार्यक्रम के दौरान जनाग्रह के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीकांथ विश्वनाथन ने बताया कि उनके द्वारा नगरीय निकायों में लेखा व अंकेक्षण के लिए किये गये कार्यो के लिए सफल परिणाम प्राप्त हुए है। देश मंे राजस्थान पहला प्रदेश है जहाॅ नगरीय निकाय क्षेत्र में एक साथ यह माॅडल लागू किया गया है। उन्होनें सुझाव दिया कि नगरीय निकाय अपनी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ करने के लिए आॅडिट के आॅकड़ो के आधार पर कार्य करें।
सम्मान समारोह में स्वायत्त शासन विभाग के मुख्य लेखाधिकारी हुलास राय पवार, सहायक लेखाधिकारी ज्ञानप्रकाश शर्मा और राजस्व अधिकारी कमलदीप शर्मा एवं 27 नगरीय निकायों को वर्ष 2015-16 के लेखे एवं अंकेक्षण के कार्य के आधार पर अंकेक्षण कार्य को शीघ्र पूरा करने, स्वयं के निजी राजस्व में सबसे अधिक वृद्धि करने, कुल राजस्व में निजी राजस्व का अधिक प्रतिशत होने एवं प्रमुख वित्तीय सुधारों का बेहतर प्रदर्शन करने की विभिन्न श्रेणियों में सम्मानित किया गया। इस मौक़े पर उदयपुर एवं बालोतरा की रिपोर्ट जारी की गई एवं लेखा एवं अंकेक्षण के दिशा-निर्देशों की पुस्तिका का विमोचन किया गया।
समारोह में मुख्य रूप से निदेशक एवं संयुक्त सचिव स्वायत्त शासन विभाग पवन अरोड़ा, अतिरिक्त निदेशक मुकेश कुमार मीणा, मुख्य कार्यकारी अधिकारी जनाग्रह श्रीकांथ विश्वनाथन, मुख्य लेखाधिकारी हुलास राय पवार मौजूद रहे।
यह जानकारी स्वायत्त शासन विभाग एवं जनाग्रह सेन्टर फाॅर सिटीजनशिप एण्ड डेमोक्रेसी, बैंगलोर के संयुक्त तत्वाधान में राज्य में लेखा एव अंकेक्षण के क्षैत्र में बेहतर कार्य करने वाली नगरीय निकायों को सम्मानित करने के लिए आयोजित सम्मान समारोह में नगरीय विकास आवासन एवं स्वायत्त शासन मंत्री श्रीचन्द कृपलानी ने दी।
नगरीय विकास आवासन एवं स्वायत्त शासन मंत्री श्रीचन्द कृपलानी ने इस मौक़े पर कहा कि प्रदेश की नगरीय निकायों में दोहरी लेखा पद्धति एवं लेखा व अंकेक्षण की व्यवस्था व्यवस्थित रूप से लागू होने से नगरीय निकाय आर्थिक रूप से सुदृढ़ हुई है। उन्होनें बताया कि प्रदेश की 191 से 1950 नगरीय निकायों से लेखा व अंकेक्षण के क्षेत्र में बेहतरीन कार्य किया है। उन्होंने बताया कि कोई भी संस्था दुकान, फैक्ट्री, कम्पनी जब ही बेहतर रूप से चल सकती है। जबकि उसका लेखा व अंकेक्षण का कार्य सुदृढ़ रूप से हो। लेखा व अंकेक्षण का कार्य किसी भी संस्था को मजबूत बनाता है। उन्होनें बताया कि प्रदेश की सरकार ने नगरीय निकायों की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करने के लिए सभी नगरीय निकायों में लेखा व अंकेक्षण व्यवस्था लागू की थी, जिसके सुदृढ़ परिणाम प्राप्त हुए है। उन्होनें कहा कि जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों के बेहतर सामंजस्य से विकास कार्यो में तेजी आती है।
कार्यक्रम के दौरान जनाग्रह के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीकांथ विश्वनाथन ने बताया कि उनके द्वारा नगरीय निकायों में लेखा व अंकेक्षण के लिए किये गये कार्यो के लिए सफल परिणाम प्राप्त हुए है। देश मंे राजस्थान पहला प्रदेश है जहाॅ नगरीय निकाय क्षेत्र में एक साथ यह माॅडल लागू किया गया है। उन्होनें सुझाव दिया कि नगरीय निकाय अपनी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ करने के लिए आॅडिट के आॅकड़ो के आधार पर कार्य करें।
सम्मान समारोह में स्वायत्त शासन विभाग के मुख्य लेखाधिकारी हुलास राय पवार, सहायक लेखाधिकारी ज्ञानप्रकाश शर्मा और राजस्व अधिकारी कमलदीप शर्मा एवं 27 नगरीय निकायों को वर्ष 2015-16 के लेखे एवं अंकेक्षण के कार्य के आधार पर अंकेक्षण कार्य को शीघ्र पूरा करने, स्वयं के निजी राजस्व में सबसे अधिक वृद्धि करने, कुल राजस्व में निजी राजस्व का अधिक प्रतिशत होने एवं प्रमुख वित्तीय सुधारों का बेहतर प्रदर्शन करने की विभिन्न श्रेणियों में सम्मानित किया गया। इस मौक़े पर उदयपुर एवं बालोतरा की रिपोर्ट जारी की गई एवं लेखा एवं अंकेक्षण के दिशा-निर्देशों की पुस्तिका का विमोचन किया गया।
समारोह में मुख्य रूप से निदेशक एवं संयुक्त सचिव स्वायत्त शासन विभाग पवन अरोड़ा, अतिरिक्त निदेशक मुकेश कुमार मीणा, मुख्य कार्यकारी अधिकारी जनाग्रह श्रीकांथ विश्वनाथन, मुख्य लेखाधिकारी हुलास राय पवार मौजूद रहे।
ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
Advertisement
Advertisement
जयपुर
राजस्थान से
सर्वाधिक पढ़ी गई
Advertisement
Traffic
Features
