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लखनऊ में कोविड के चार नए मामले आए सामने

लखनऊ। लखनऊ में कोविड के चार नए मामले सामने आए हैं, इससे कुल सक्रिय मामलों की संख्या 12 हो गई है। इस साल पहली बार ऐसा हुआ है कि एक दिन में चार मामले सामने आए हैं। जिन लोगों का परीक्षण सकारात्मक आया है, उनमें अलीगंज की दो महिलाएं, आलमबाग का एक पुरुष और सरोजनी नगर की एक अन्य महिला शामिल है।
स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि चार नए मरीज स्थिर हैं और घर पर आइसोलेशन में हैं।
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, एक सप्ताह पहले तक राज्य भर में रोजाना करीब 5-7 मामले सामने आ रहे थे, लेकिन अब 12-14 मामले सामने आ रहे हैं।
स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि मामलों में वृद्धि मुख्य रूप से मौसमी बदलाव और होली के बाद लोगों के घुलने-मिलने के कारण है।
हालांकि, उन्होंने कहा कि पिछले 30 दिनों में किसी को भी कोविड-19 मरीज को अस्पताल में भर्ती नहीं कराया गया है।
उत्तर प्रदेश संचारी रोग निदेशक डॉ. ए.के. सिंह ने कहा कि इस मौसम में अक्सर वायरल संक्रमण देखा जाता है और नोवल कोरोना वायरस के मामले में भी ऐसा ही हो रहा है। साथ ही, त्योहारों के दौरान संक्रमण में थोड़ी वृद्धि हो सकती है।
हालांकि, उन्होंने कहा, चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि अधिकांश लोगों को टीका लगाया गया है और प्रतिदिन 60,000 लोगों का परीक्षण करने के बावजूद सकारात्मकता दर प्रति 1,000 नमूनों पर 1.64 है।
आईएमएस-बीएचयू में माइक्रोबायोलॉजी के पूर्व प्रमुख, प्रोफेसर अनिल कुमार गुलाटी ने कहा, हालांकि कोविड -19 सामान्य व्यक्तियों में गंभीर संक्रमण नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा कि परीक्षण बढ़ाया जाना चाहिए और जनता को मास्क पहनना और कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन करना शुरू करना चाहिए।
एसोसिएशन ऑफ इंटरनेशनल डॉक्टर्स के महासचिव डॉ. अभिषेक शुक्ला ने कहा, कोरोना के मामलों में वृद्धि को देखते हुए हम लोगों को कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने की सलाह देंगे। किसी भी ऐसे व्यक्ति के साथ निकट संपर्क से बचना चाहिए, जिसका मेडिकल इतिहास नहीं जानता हो।(आईएएनएस)
स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि चार नए मरीज स्थिर हैं और घर पर आइसोलेशन में हैं।
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, एक सप्ताह पहले तक राज्य भर में रोजाना करीब 5-7 मामले सामने आ रहे थे, लेकिन अब 12-14 मामले सामने आ रहे हैं।
स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि मामलों में वृद्धि मुख्य रूप से मौसमी बदलाव और होली के बाद लोगों के घुलने-मिलने के कारण है।
हालांकि, उन्होंने कहा कि पिछले 30 दिनों में किसी को भी कोविड-19 मरीज को अस्पताल में भर्ती नहीं कराया गया है।
उत्तर प्रदेश संचारी रोग निदेशक डॉ. ए.के. सिंह ने कहा कि इस मौसम में अक्सर वायरल संक्रमण देखा जाता है और नोवल कोरोना वायरस के मामले में भी ऐसा ही हो रहा है। साथ ही, त्योहारों के दौरान संक्रमण में थोड़ी वृद्धि हो सकती है।
हालांकि, उन्होंने कहा, चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि अधिकांश लोगों को टीका लगाया गया है और प्रतिदिन 60,000 लोगों का परीक्षण करने के बावजूद सकारात्मकता दर प्रति 1,000 नमूनों पर 1.64 है।
आईएमएस-बीएचयू में माइक्रोबायोलॉजी के पूर्व प्रमुख, प्रोफेसर अनिल कुमार गुलाटी ने कहा, हालांकि कोविड -19 सामान्य व्यक्तियों में गंभीर संक्रमण नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा कि परीक्षण बढ़ाया जाना चाहिए और जनता को मास्क पहनना और कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन करना शुरू करना चाहिए।
एसोसिएशन ऑफ इंटरनेशनल डॉक्टर्स के महासचिव डॉ. अभिषेक शुक्ला ने कहा, कोरोना के मामलों में वृद्धि को देखते हुए हम लोगों को कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने की सलाह देंगे। किसी भी ऐसे व्यक्ति के साथ निकट संपर्क से बचना चाहिए, जिसका मेडिकल इतिहास नहीं जानता हो।(आईएएनएस)
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